Home / Uncategorized / 6 खाने के पदार्थ जिन्हें माइक्रोवेव में कभी गरम नहीं करना चाहिए
हम सभी को बचे हुए खाने को फ्रिज में स्टोर कर बाद में गरम कर खाने की आदत है। हालाँकि यह बहुत सुविधाजनक काम है, आपको जान कर आश्चर्य होगा की कई खाने के पदार्थों को दोबारा गरम कर-कर नहीं खाना चाहिए, खास कर के माइक्रोवेव में तो इन्हें कभी गरम नहीं करना चाहिए। माइक्रोवेव में दोबारा गरम करने से इन खाने के पदार्थों में मौजूद पोषक तत्त्व टॉक्सिक बन जाते हैं जिसके कारण फ़ूड पोइज़निंग,दस्त और उल्टियां हो सकती हैं। खाने के पदार्थों को हम किस तरह स्टोर करते हैं और फिर दोबारा गरम करते हैं, खाने की गुणवत्ता इन दो बातों पर बेहद निर्भर करती है।
पेश की गई लिस्ट में उन खाने के पदार्थों का ज़िकर किया गया है जो कभी भी माइक्रोवेव में गरम नहीं करने चाहिए, विश्वास कीजिए, कुछ के बारे में जानकर आपको सच में अचरज होगा-
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कच्चे चावल में बीजाणु होते हैं जिनकी वजह से फ़ूड पोइज़निंग हो सकती है। दुर्भाग्य से ये बीजाणु पकने के बाद भी बचे रहते हैं। पके हुए चावल को सामान्य तापमान पर स्टोर करने पर, ये बीजाणु बैक्टीरिया में परिवर्तित हो सकते हैं जो बड़ी जल्दी बढ़ जाते हैं। अगर किसी कारणवश, आपको पके हुए चावल इस्तेमाल करने की ज़रुरत है, तब इन्हें किसी पैन में बोइलिंग पॉइंट पर उबाल लें और हल्का गरम ही रहने दें जिससे बैक्टीरिया पैदा नहीं होंगे।
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आलू में भी चावल की तरह बीजाणुओं की समस्या है। पके हुए आलू को सामान्य तापमान पर स्टोर करने से इनमें बैक्टीरिया पैदा हो जाते हैं। लेकिन अगर आपको पके हुए आलूओं को दोबारा इस्तेमाल करना है तब आप पकने के कुछ समय बाद ही इन्हें फ्रिज में स्टोर कर लें ताकि इनमें बैक्टीरिया पैदा नहीं होगा।
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पालक और अन्य हरी सब्ज़ियों, चुकंदर और शलजम में बड़ी मात्रा में नाइट्रेट्स और आयरन मौजूद रहता है। गरम करने पर, नाइट्रेट्स बड़ी जल्दी कार्सिओजेनिक बन जाते हैं और आयरन बड़ी जल्दी ऑक्सीडाइज हो जाता है जिसके कारण इनमें मौजूद सारे पोषक तत्त्व नष्ट हो जाते हैं।
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अण्डों में बहुत सारा प्रोटीन होता है और इन प्रोटीन्स को बनाए रखने का सबसे अच्छा तरीका है अण्डों को उबालना या इनकी भुर्जी बनाना। हलाकि इन दोनों प्रक्रियाओं के बाद दोबारा गरम करने से, प्रोटीन घट जाता है और इसे खाने से पाचन तंत्र को नुकसान पहुंच सकता है। अगर पके हुए अंडे सामान्य तापमान पर ज़्यादा देर बाहर रह जाते हैं, तब इन्हें ठंडा ही खा लेना चाहिए या सलाद में इनका प्रयोग कर लेना चाहिए।
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चिकन में प्रोटीन भारी मात्रा में मौजूद होता है जो दोबारा गरम करने पर घट जाता है। चिकन को हमेशा पारम्परिक तरीके से स्टोव पर ही गरम करना चाहिए ताकि उसमें मौजूद सारा बैक्टीरिया नष्ट हो जाए और सुनिश्चित रूप से चिकन अंदर तक गरम हो जाए।
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कुछ आयलस जैसे हेज़लनट आयल, फ्लेक्ससीड आयल, एवोकाडो आयल, ग्रेपसीड आयल, वालनट आयल आदि का स्मोकिंग पॉइंट बहुत काम होता है। दोबारा गरम करने से ये तेल सड़ जाता है। इसके अलावा ग्राउन्डनोट आयल, ओलिव आयल और कनोला आयल में भारी मात्रा में ओमेगा-3 फैटी एसिड्स मौजूद रहते हैं जो की गरम करने पर बड़ी आसानी से नष्ट हो जाते हैं। इस कारणवश इन तेलों को गरम करने से इनमें मौजूद पोषक तत्त्व घट जाते हैं और नष्ट हो जाते हैं।
माइक्रोवेव में गरम करने से खाने के पदार्थ सामान्य तरीके से गरम नहीं हो पाते, इसी कारणवश कुछ खाने के पदार्थों को दोबारा गरम करने के लिए माइक्रोवेव का प्रयोग उचित नहीं है।
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